कार्यक्रमों की ऑनलाइन श्रृंखला 9 अक्टूबर से 15 अक्टूबर तक आयोजित होने वाली है
यह ऑनलाइन उत्सव दुनिया भर के युवाओं के लिए उन सांस्कृतिक और पारंपरिक मूल्यों का अनुभव करने का अवसर है
एस बी टी न्यूज उत्तराखंड
देहरादून। द सोसाइटी फॉर द प्रमोशन ऑफ इंडियन क्लासिकल म्यूजिक एंड कल्चर अमंग यूथ (स्पिक मैके) सांस्कृतिक कार्यक्रमों की ऑनलाइन श्रृंखला अनुभव-3 के तीसरे संस्करण की मेजबानी करने जा रहा है। यह कार्यक्रमों की ऑनलाइन श्रृंखला 9 अक्टूबर से 15 अक्टूबर तक आयोजित होने वाली है और इसे स्पिक मैके के आधिकारिक यूट्यूब चौनल पर लाइव स्ट्रीम किया जाएगा।
उत्सव के बारे में बोलते हुए, मीडिया निदेशक, स्पिक मैके, सुमन डूंगा ने कहा, “महामारी के दौरान, स्पिक मैके द्वारा लगातार ऑनलाइन कार्यक्रमों का आयोजन किया जा रहा है, जिनमे दुनियाभर से भागीदारी देखी जा सकती है। यह ऑनलाइन उत्सव दुनिया भर के युवाओं के लिए उन सांस्कृतिक और पारंपरिक मूल्यों का अनुभव करने का अवसर है, जिन्हें भारत ने सदियों से विभिन्न रूपों में संरक्षित किया है। हमें उम्मीद है कि अनुभव -3 के ये सात दिन एक छात्र को अपने अंदर के एवरेस्ट पर्वत की एक झलक पाने और भारत के संपूर्ण संस्कृति का अनुभव करने में मदद करेंगे।
कुछ प्रसिद्ध कलाकार जो ऑनलाइन श्रृंखला अनुभव 3 का हिस्सा होंगे, वे हैं संगीता कलानिधि, उमयालपुरम के शिवरमन, टी वी शंकरनारायणन, परवीन सुल्ताना, डॉ एल सुब्रमण्यम, सुधा रगुनाथन, घनकांता बोरा, शेख महबूब सुभानी, कालेशबी महबूब, विदुषी मालविका सरुक्कई, पंडित भजन सोपोरी, प्रह्लाद सिंह टिपानिया, डॉ. सुमा सुधींद्र, उस्ताद बहाउद्दीन डागर, दादी पुदुमजी, अश्विनी भिड़े देशपांडे, पं. प्रभाकर कारेकर, पंडित ऋत्विक सान्याल, अभिषेक रघुराम और कपिला वेणु। ऑनलाइन सांस्कृतिक उत्सव के बारे में और जानकारी देते हुए, अध्यक्ष, स्पिक मैके उत्तराखंड, विद्या वासन ने कहा, “अनुभव -3 का एक साप्ताहि कार्यक्रम इस प्रकार बनाया गया है, जिससे एक छात्र को दुनिया के प्ररूपी विकर्षणों से दूर रखा जा सके।
इसमें भाग लेने वाले प्रतिभागियों को सलाह दी जाती है कि वे सोशल मीडिया और टीवी से कुछ समय दूर होकर भारतीय विरासत और इसकी नैतिकता के अपने दृष्टिकोण को समझने और आत्मनिरीक्षण करने पर ध्यान केंद्रित करें। सात दिवसीय उत्सव अनुभव-3 के दौरान हिंदुस्तानी वोकल, कर्नाटक वोकल, शास्त्रीय नृत्य, लोक संगीत और नृत्य, और पारंपरिक चित्रकला शैलियों की 150 कार्यशालाएं होंगी।
इस कार्यक्रम में पूरे देश के साथ-साथ बांग्लादेश, श्रीलंका, भूटान, चीन, कोरिया, सिंगापुर और जापान जैसे अन्य देशों से लगभग 15,000 छात्र भाग लेंगे। अनुभव-3 के दौरान कोन्या के प्रसिद्ध व्हर्लिंग दरवेशों द्वारा वीडियो का प्रीमियर भी होगा। इस ऑनलाइन कार्यक्रम में भागीदारी निरूशुल्क रखी जाएगी।